कनाडा के ब्रैम्पटन शहर में रविवार को हिंदू सभा मंदिर पर हुए हमले के बाद विरोध तेज होता जा रहा है। सोमवार को हजारों लोग ब्रैम्पटन की सड़कों पर भगवा, तिरंगा और कनाडा के राष्ट्रीय ध्वजों के साथ उतर आए। इस एकजुटता मार्च में कनाडा में रहने वाले हिंदू समुदाय के लोग शांतिपूर्ण ढंग से शामिल हुए। इस मार्च का आयोजन कोलिशन ऑफ हिंदूज इन नॉर्थ अमेरका की ओर से किया गया था। इस मार्च के दौरान जय श्री राम के जयकारों से ब्रैम्टपन की सड़कें गूंज उठी। प्रदर्शनकारियों ने खालिस्तान समर्थक हमलों के खिलाफ सख्त कार्रवाई की मांग की।
हिंदू मंदिर पर हमले का सख्त विरोध
हिंदू सभा मंदिर में खालिस्तान समर्थकों द्वारा की गई हिंसा और भारत विरोधी झंडों के साथ हुए हमले को लेकर कनाडा में रह रहे हिंदू धर्म के लोगों ने चिंता जताई है। अब तक इस मामले में तीन लोगों को गिरफ्तार किया गया है। इन खालिस्तानी समर्थकों पर पुलिस अफसरों पर हमला करने और उन्हें हथियार दिखाकर डराने के आरोप हैं। स्थानीय लोगों ने बताया कि हिंदू सभा के मंदिर पर हुआ यह हमला वर्षों से हो रहे भेदभाव का प्रतीक है, जिसे अब बर्दाश्त नहीं किया जाएगा।
पीएम मोदी ने हमले की निंदा की
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने कनाडा में हिंदू मंदिर पर हुए हमले की सख्त निंदा की। उन्होंने ओटावा सरकार से न्याय की मांग करते हुए कहा कि ऐसे हमले भारत के साहस को कमजोर नहीं कर सकते। पीएम मोदी ने सोशल मीडिया पर पोस्ट कर कहा, “मैं कनाडा में हिंदू मंदिर पर हुए इस हमले की कड़ी निंदा करता हूं। हम उम्मीद करते हैं कि कनाडाई सरकार कानून का पालन सुनिश्चित करेगी।”
कनाडाई पीएम ट्रूडो की प्रतिक्रिया
कनाडा के प्रधानमंत्री जस्टिन ट्रूडो ने भी इस घटना की निंदा की। ट्रूडो ने कहा कि कनाडा में हर व्यक्ति को स्वतंत्र रूप से अपनी आस्था का पालन करने का अधिकार है। हालांकि, ट्रूडो ने “खालिस्तानी चरमपंथ” का जिक्र नहीं किया। इसकी वजह से हिंदू समुदाय के लोगों ने ट्रूडो पर भी निशाना साधा। कनाडा के हिंदू समुदाय ने ट्रूडो से खालिस्तानी गतिविधियों के खिलाफ सख्त रुख अपनाने की मांग की है।
भारत-कनाडा संबंधों में बढ़ी तल्खी
इस घटना ने भारत-कनाडा संबंधों को और बिगाड़ दिया है। इससे पहले सितंबर 2023 में कनाडा ने खालिस्तानी आतंकी हरदीप सिंह निज्जर की हत्या के लिए भारतीय एजेंसियों को दोषी ठहराया था। भारत ने निज्जर को 2007 के पंजाब थिएटर बम धमाके और 2009 में सिख नेता रुल्दा सिंह की हत्या के मामलों में शामिल होने पर आतंकी घोषित किया था।
कनाडा में हिंदूफोबिया पर लगे रोक
प्रदर्शन में आए कनाडा के हिंदुओं ने मीडिया से बातचीत के दौरान कहा कि बीते 20 साल से कनाडा में हिंदुओं के साथ भेदभाव हो रहा है। प्रदर्शनकारियों ने कनाडा सरकार से हिंदूफोबिया रोकने और इस तरह के हमलों पर सख्त कार्रवाई की मांग की। इस मार्च में हिस्सा ले रहे लोगों ने कहा कि कनाडाई हिंदू हमेशा से कनाडा के प्रति वफादार रहे हैं। हम चाहते हैं कि कनाडा भी हमारे साथ ऐसा ही सलूक करे।
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